कोलकाता। कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ट्रेनी डॉक्टर के साथ हुई बलात्कार और हत्या की घटना के बाद पश्चिम बंगाल में लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं। लोगों की न्याय की मांग के बीच, शुक्रवार (6 सितंबर) को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के घर पर छापा मारा। ईडी ने संदीप घोष के अलावा हावड़ा में उनके करीबी बिप्लब सिंह और कौशिक कोले के घर भी छापे मारे। बिप्लब सिंह को पहले ही सीबीआई ने गिरफ्तार कर लिया था। इसके अलावा, सोनारपुर में प्रसून चटर्जी के घर पर भी रेड की गई है।
नया खुलासा: रेनोवेशन का ऑर्डर अगले दिन
इस मामले में नए अपडेट्स के अनुसार, गुरुवार (5 सितंबर) को एक महत्वपूर्ण खुलासा हुआ है। पता चला है कि घटना के अगले ही दिन, यानी 10 अगस्त को, संदीप घोष ने पीडब्ल्यूडी विभाग को एक पत्र लिखा था। इस पत्र में उन्होंने अस्पताल में तुरंत रेनोवेशन का अनुरोध किया था। पत्र में उल्लेख किया गया था कि डॉक्टर्स रूम और अटैच्ड टॉयलेट में कई कमियां थीं, जिनसे डॉक्टर्स को परेशानियों का सामना करना पड़ता था।
रिनोवेशन के कारण अहम सबूत मिटे
संदीप घोष के पत्र के सामने आने के बाद यह भी खुलासा हुआ है कि रिनोवेशन के चलते कई अहम सबूत मिट गए। सेमिनार रूम में भी रिनोवेशन करवाया गया, जिससे महत्वपूर्ण सबूतों के नुकसान की संभावना बढ़ गई। इससे पहले, संदीप घोष ने दावा किया था कि कॉलेज में रिनोवेशन का काम पहले से चल रहा था, लेकिन अब पत्र के सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि संदीप घोष और कॉलेज प्रशासन ने इस बारे में झूठ बोला था।
सामान्य सुरक्षा और प्रशासनिक जवाबदेही पर सवाल
इस पत्र के सामने आने के बाद आरजी कर मेडिकल कॉलेज का प्रशासन और ममता बनर्जी की सरकार एक बार फिर विपक्ष और छात्रों के निशाने पर आ गई हैं। मामले की गहराई में जाकर जांच की जा रही है और आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।