नई दिल्ली: बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे हमलों के बीच, भारतीय विदेश सचिव विक्रम मिसरी 9 दिसंबर को विदेश कार्यालय परामर्श (एफओसी) के लिए बांग्लादेश का दौरा करेंगे। यह दौरा दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करने के लिहाज से एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
भारत का जोर निष्पक्ष कानूनी प्रक्रियाओं पर
भारतीय विदेश मंत्रालय के अनुसार, इस दौरे के दौरान बांग्लादेश में चल रही कानूनी प्रक्रियाओं को निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से सुनिश्चित करने पर भारत का जोर रहेगा। इसके साथ ही, सीरिया में बिगड़ती स्थिति और वहां फंसे भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को लेकर भी महत्वपूर्ण चर्चा होगी।
एफओसी में चर्चा के मुद्दे
बांग्लादेश के मंत्रालय के प्रवक्ता मोहम्मद रफीकुल आलम ने बताया कि विदेश कार्यालय परामर्श (एफओसी) में वीजा संपर्क, व्यापार, सीमा पर हिंसा और जल-बंटवारे जैसे प्रमुख मुद्दों पर बातचीत होगी। इसके अतिरिक्त, शेख हसीना के प्रत्यर्पण के मुद्दे पर भी चर्चा हो सकती है, जैसा कि विदेश मंत्रालय की पिछली ब्रीफिंग में इशारा किया गया था।
सीरिया में संघर्ष और भारतीय नागरिकों की सुरक्षा
सीरिया में बढ़ते संघर्ष को लेकर भारत ने गहरी चिंता व्यक्त की है। वहां फंसे भारतीय नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए भारत ने अपने प्रयासों को तेज कर दिया है।
इस दौरे को दोनों देशों के रिश्तों में एक नए अध्याय की शुरुआत के रूप में देखा जा रहा है, खासकर ऐसे समय में जब बांग्लादेश में धार्मिक अल्पसंख्यकों के खिलाफ हमलों की घटनाएं बढ़ी हैं। इस दौरे से दोनों देशों के बीच सहयोग और समझ को और गहरा करने की उम्मीद जताई जा रही है।